अक्सर ऐसा देखा गया है लोग गलतियां कर देते हैं और यदि बात UPSC की तैयारी की हो तो बहुत सावधानी और सतर्कता के साथ आपको आपने मेहनत को एक सही दिशा में लगाने कि जरूरत है. कुछ ऐसी गलतियां हैं जो आपके और आपने सपनों के बीच बाधा उत्पन्न कर सकता है और ये वही गलतियां जो आपको IAS बनने से रोक सकती हैं, यदि इससे बचना चाहते हैं तो इस पोस्ट को पूरा पढ़ने से ज्यादा जरूरी इस पर काम करना है.
UPSC/IAS की तौयारी में ही नहीं बल्कि जीवन के हर क्षेत्र में कुछ सावधानियां बरतना बहुत जरूरी है. यदि आप एक UPSC उम्मीदवार हैं या UPSC कि तैयारी का सोच रहे हैं तो बहुत जरुरी है उम्मीदवार कुछ भी गलत करने से बचे इससे आपका समय खराब होता है और यहां परीक्षा देने का एक उम्र सीमा है. इसके बाद पछताने के अलावा कुछ नहीं हासिल होगा. एक कड़वी सच्चाई और है इंसान से गलतियां हो ही जाता है. लेकिन कोशिश करना है हम फालतू के कम में अपना समय बिलकुल भी नहीं लगाएं.
सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी में मेहनत अन्य सभी परीक्षा से बहुत ज्यादा होता है. यदि यहां सही से पढाई किया जाये तो निःसंदेह चयन हो जायेगा. यदि किसी करणवश चयन नहीं हो पता है तो आप एक कुशल और अनुभवी शिक्षक बन सकते हो. मेहनत दो तरीके से किया जाता है एक बस किये जा रहे हैं दूसरा एक नियत तरीके से किसी अनुभवी और कुशल शिक्षक के निगरानी में, यहां सही कोचिंग और सही मार्गदर्शक का चयन करना है. जब मेहनत स्मार्ट तरीके से की जाए तो आपका प्रयास अधिक अच्छा फल दे सकता है. तैयारी करने की रणनीति, किस विषय पर अधिक मेहनत करना है, क्या अनावश्यक है, किसे धैर्यपूर्वक तैयार करना है, किसे काफी विस्तार से विश्लेषित करना है, विषयों के बीच समय को किस अनुपात में बांटना है आदि भी कड़ी मेहनत के अलावा समान रूप से महत्व रखता है. इन्हीं कुछ वजहों के बारें में नीचे विस्तार से बताया गया है. अभी हाल ही में The Viral Fever पर एक सीरीज UPSC Aspirants आया है. जिसमें बहुत बारीकी से बताया गया है एक कुशल और अनुभवी मार्गदर्शक आपके रस्ते को आसान कर देता है.
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लेखन अभ्यास के बिना पढ़ना
इसे मैं सबसे बड़ा कारन मानता हूं. यदि वाकई सही तरीके से स्मार्ट मेहनत का UPSC Qualify करना चाहते हैं तो जो कुछ भी पढ़िए उसे बिना देखे लिखिए इससे जो भी पढोगे वह आपका हो जायेगा. सिविल सेवा परीक्षा सभी प्रतियोगी परीक्षाओं में सबसे कठिन है यदि इसकी तैयारी बहुत अच्छे से किया जाये तो UPSC न सही लेकिन SSC Exam Qualify कर सकते हो. UPSC Qualify करने के लिए ढेर सारी किताबों को पढ़ना उचित माना जाता है. किताबों की संख्या और विविधता बहुत अधिक है. यह मायने नहीं रखता कि कोई कितनी किताबें पढ़ता है, बहुत सारी किताबें पढ़ने के बावजूद भी सब्जेक्ट पर पकड़ की कमी महसूस की जाती है और इसलिए उम्मीदवार और अधिक पढ़ाई एवं पुनरावृत्ति की राह पर चल पड़ते हैं.
पढ़ाई करना सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी का सिर्फ एक हिस्सा है. पढ़ाई उम्मीदवार को तथ्यों और जानकारियों को इक्ट्ठा करने में सक्षम बनाता है. सिविल सेवा परीक्षा सिर्फ ज्ञान की परीक्षा नहीं होती. यह उम्मीदवार के सोचने की क्षमता, विश्लेषण करने की क्षमता, समझने की क्षमता, तर्क क्षमता और परीक्षा कक्ष में समय प्रबंधन की क्षमता की भी जांच करता है. यदि बिना लेखन अभ्यास के एक उम्मीदवार काफी पढ़ भी ले तब भी परीक्षा में बहुत बुरा प्रदर्शन कर सकता है.
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उचित जानकारी प्राप्त करने के बाद, सिविल सेवा परीक्षा में सफल होने के लिए उसका इस्तेमाल किस प्रकार करें, यह सीखना भी उतना ही महत्वपूर्ण है. प्रारंभिक परीक्षा से पहले किसी भी उम्मीदवार को बहुवैकल्पिक प्रश्नों (Objective Question) का काफी अभ्यास कर लेना चाहिए क्योंकि इसमें सिर्फ बहुवैकल्पिक प्रश्न ही पूछे जाता है. उम्मीदवार को अपनी जानकारी का उपयोग करने के अलावा विकल्पों में से छांटने, प्रश्न के कथन से विकल्पों को संबद्ध करने, कई विकल्पों में से प्रश्न को सम्बद्ध करते हुए और ऐसे ही अन्य उपायों के जरिए बहुवैकल्पिक प्रश्नों को हल करने में निपुण होना चाहिए.
मुख्य परीक्षा में प्रति घंटे 1500 शब्दों से भी अधिक के औसत से 27 घंटों तक लिखना होता है. एक उम्मीदवार के लिए यह बहुत महत्वपूर्ण है कि लेखन कौशल को विकसित करने के लिए उत्तर लिखने का अभ्यास करें. अच्छे लेखन कौशल के साथ पढ़ने में अच्छा होना उम्मीदवार को सिर्फ पढ़ने वाले किसी भी उम्मीदवार की तुलना में बेहतर प्रदर्शन करने में सक्षम बनाएगा.
स्व–अध्ययन के मुकाबले कोचिंग संस्थानों पर ज्यादा निर्भरता
UPSC का एक नया ट्रेंड बन गया है. जिस किसी के भी मन में बड़ा अधिकारी बनने का लालसा होता है वह आपने Graduation के समय से ही UPSC PREPARATION शुरू कर देता है और यह बहुत ही बढ़िया तरीका है. कहते है होनहार बिरवान के होत चिकने पात. मतलब पेड़ में कैसा फल लगेगा यह बहुत पहले ही दिखने लगता है. इसीलिए बीते कुछ समय से देखा जा रहा है जो बच्चे Graduation में पढ़ रहे होते हैं वह कॉलेज से ही UPSC PREPARATION शुरू कर देते हैं. वैसे भी आईएएस कि तैयारी करना है तो समय रहते ही शुरू कर देना चाहिए जिससे YOUNGEST IAS/IPS की श्रेणी में आ सकते हैं. सिविल सेवा परीक्षा में सफल होने के लिए एक कुशल और अनुभवी मार्गदर्शक का होना बहुत जरूरी है. इसके लिए किसी कोचिंग संस्थान में नामांकन भी जरूरी है. वैसे आज इन्टरनेट पर हर तरह कि जानकारी उपलब्ध है. ज्यादातर छात्र सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी के लिए कोचिंग कक्षाओं में जाने को सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा मानने लगे हैं वहीं कुछ ऐसे भी हैं जो स्वाध्याय करते हैं और सफलता भी हासिल करते हैं.
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ज्यादा समय तक पढ़ने के लिए कम सोना
सरकारी मुलाजिम बनने के लिए UPSC देश सबसे कठिन परीक्षा में से एक नहीं बल्कि यही इसमें कोई दो राय नहीं है कि सिविल सेवा परीक्षा में सफल होने के लिए रोजाना कई कई घंटों तक पढ़ाई करनी होती है. लेकिन शरीर की भी कुछ सीमाएं होती है, जिसे ध्यान में रखते हुए तैयारी करना है. मानसिक संतुलन बना रहे इसके लिए पढाई के साथ दिमाग और शारीर को उचित आराम मिलना भी जरूरी है. मानव का मस्तिष्क कुछ समय के बाद आंकड़ों को समझने और विश्लेषित करने में अक्षम हो जाता है। कड़ी प्रतिस्पर्धा की वजह से आईएएस उम्मीदवार अपनी इच्छा के अनुसार अधिक– से–अधिक पढ़ाई करना चाहता है जिसकी वजह से उसके मस्तिश्जक को घंटों तक बिना रुके काम करना पड़ता है। इसके लिए वह सोने, मनोरंजन और आराम से जुड़े गतिविधियों में लगने वाले समय में कटौती करने लगता है।
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बिना रूके और पर्याप्त नींद लिए बिना बहुत अधिक और लगातार पढ़ाई करते रहने से उम्मीदवार कुशल और प्रखर नहीं हो सकते। अच्छी नींद के माध्यम से प्राप्त की गई जानकारी को मन में बैठाने की जरूरत होती है। वास्तव में नींद स्थिरता प्रदान करता है और नींद से जागने के बाद हर उम्मीदवार पहले से अधिक तरोताजा औऱ स्वस्थ महसूस करता है। सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी के लिए 7-8 घंटों की गहरी नींद बहुत आवश्यक है।
कई किताबों से पढ़ना
सिविल सेवा परीक्षा के लिए बाजार में अध्ययन सामग्रियों और किताबों की भरभार ने सभी सीमाओं को पार कर लिया है। प्रत्येक विषय पर सैंकड़ों किताबें और नोट्स उपलब्ध हैं। इसके अलावा इनमें से ज्यादातर किताबें सभी विषयों और उप–विषयों को कवर करती हैं। इसलिए उम्मीदवारों के लिए सही किताब को चुनना बहुत मुश्किल हो जाता है। वास्तव में कई छात्र एक ही विषय के लिए कई किताबों से पढ़ाई करने लगते हैं।
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यह स्पष्ट कर दें कि यूपीएससी उम्मीदवारों से विषय के विश्लेषण की भी अपेक्षा करता है सिर्फ तथ्यों के स्पष्टीकरण भर की मांग नहीं करता । तथ्यों, स्थापित विचारों और संबंधित आंकड़ों वाली किताबें या पत्रिकाएं इनकी पुष्टि करने वाली होती हैं। इसलिए किसी विषय विशेष की तुलना में जानकारी पर पकड़ बनाने के लिए किताबें पढ़ना अनिवार्य है। हालांकि तथ्यों को जमा करने की बजाय उनका विश्लेषण और व्याख्या करना अधिक महत्वपूर्ण होता है। एक ही विषय पर एक से अधिक किताबों को पढ़ने से उस विषय पर आपकी जानकारी बढ़ेगी लेकिन इससे आप में स्वतः अपने नजरिये से उस विषय का विश्लेषण करने की क्षमता पैदा नहीं हो सकती। इसलिए एक ही विषय पर कई किताबों को पढ़ना सिर्फ समय का अकुशल उपयोग कहा जाएगा। एक विषय पर कई किताबें पढ़ने की बजाय एक ही किताब को कई बार पढ़ने की सलाह दी जाती है।
अखबारों पर बहुत अधिक निर्भरता
निस्संदेह अखबार सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी की रीढ़ होते हैं। यह करेंट अफेयर्स, विचारों और विषय के विश्लेषण का महत्वपूर्ण स्रोत है। प्रारंभिक परीक्षा का बड़ा हिस्सा और मुख्य परीक्षा में सामान्य अध्ययन पेपर 2 और 3 का काफी हिस्सा सीधे– सीधे अखबारों से संबंधित होता है। इसके अलावा वर्तमान मुद्दे इंटरव्यू का महत्वपूर्ण हिस्सा होते हैं। छात्रों में अखबार पर काफी समय खर्च करने की आदत होती है। कई छात्र तो एक अखबार के प्रत्येक खबर, प्रत्येक राय और उसमें दी गई प्रत्येक चर्चा को विस्तार से पढ़ते हैं। यदि उम्मीदवार को एक से अधिक अखबार पढ़ने की आदत है तो इसमें काफी समय लग जाता है।
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Conclusion
वैसे छात्र जो कोचिंग संस्थानों और उनके तरीकों पर बहुत अधिक भरोसा करते हैं अक्सर स्व–अध्ययन नहीं करने पर अफसोस जताते हैं। कोचिंग संस्थान किसी को राह दिखा सकते हैं और किन विषयों की पढ़ाई करनी है, के बारे में बता सकते हैं। वे छात्रों को किसी अवधारणा को सरल कर समझने और उसके अभ्यास में मदद कर सकते हैं। लेकिन ऐसे अभ्यास और तैयारियां तब तक सार्थक नहीं होंगी जब तक कि इसके साथ कड़ी मेहनत, स्व– अध्ययन और आत्मविश्वास न हो।
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Sir bahut kuch sikhne ko mila dhanyawad
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kaafi aasan bhasya me apne smjyaa hai dhnyavad